जालंधर 10 दिसंबर (नीतू कपूर)- हंसराज महिला महाविद्यालय में पंजाब स्टेट काउंसिल ऑफ साइंस एंड टेक्नालिजी के सौजन्य से 3 दिवसीय रेकाीडेंशियल वर्कशाप का शुभारंभ किया गया। इस वर्कशाप का विषय ‘बिल्डिंग स्किल्स फॉर कंडक्टिंग नेचर कैंपस’ था। पंजाब स्टेट काउंसिल ऑफ साइंस एंड टेक्नालिजी के ज्वाइंट डायरेक्टर डॉ. के.एस. बाठ ने इस अवसर पर कहा कि प्रकृति को कई तरीकों से अन्वेषित किया जा सकता है। इस कैंप का मुख्य उद्देश्य प्रकृति के प्रति जागरूकता फैलाना है। प्राचार्या प्रो. डॉ. (श्रीमती) अजय सरीन ने सभी अतिथियों व प्रतिभागियों का स्वागत किया। उन्होंने बताया कि पंजाब के 9 जिलों से आए अध्यापक इस कैंप में भाग ले रहे हैं।
उन्होंने सभी प्रतिभागियों से इस कैंप में बढ़-चढ़ कर भाग लेने की अपील की। उन्होंने कहा कि हमारी भावी पीढिय़ां वातावरण के साथ मिलकर ही तरक्की कर सकती है। लोकल एडवाइजरी कमेटी के चेयरमैन जस्टिस (रिटा.) श्री एन.के. सूद ने कहा कि ज्ञान बढ़ाने के लिए यह बेहतरीन अवसर है। प्रतिभागियों के लिए यह काफी लाभकारी रहेगा।
इस प्रकार के कैंप से प्रैक्टिकल ज्ञान के साथ थ्योरी ज्ञान का सुमेल हो जाता है
विज्ञान प्रसार के पूर्व सीनियर वैज्ञानिक डॉ. बी.के. त्यागी ने कहा कि इस प्रकार के कैंप से प्रैक्टिकल ज्ञान के साथ थ्योरी ज्ञान का सुमेल हो जाता है जो बेहतरीन अवसर प्रदान करता है। उन्होंने एचएमवी को कालेज में सस्टेनेबिलिटी अपनाने के लिए तहे दिल से बधाई दी। उन्होंने कहा कि प्रकृति को समझने के लिए हमें सात साल के बच्चे जैसा जिज्ञासु बनना होगा। डॉ. अशाक हुसैन ने कहा कि प्रकृति हमें जीने के बेहतरीन ढंग सिखाती है। लेकिन हम प्रकृति से ही दूर होते जा रहे हैं। पर्यावरण मंत्रालय ने इन कैंपस के माध्यम से हमें प्रकृति के नजदीक करने की कोशिश की है। इनके माध्यम से हम प्रकृति को नजदीक से समझ पायेंगे।
डॉ. कुलदीप गुप्ता ने कहा कि बतौर शिक्षक हम प्रकृति के लिए चेंज-मेकर्स साबित हो सकते हैं। डॉ. मंदाकिनी ने पीएससीएसटी तथा एचएमवी के संयुक्त मिशन पर बात की जिससे ग्रीन भविष्य बनाया जाएगा। दोपहर के सत्र में विभिन्न विषयों पर वर्कशाप का आयोजन किया गया जिसमें ‘आटोग्राफ ऑफ ट्री, लीफ जू डिजाइनिंग यूअर ओन नेचर किट’ शामिल थे। इस अवसर पर नोडल आफिसर डॉ. अंजना भाटिया , डीन अकादमिक डॉ. सीमा मरवाहा सहित समूह फैकल्टी सदस्य उपस्थित थे। मंच संचालन डॉ. अंजना भाटिया ने किया। एनसीसी के कैडेट्स द्वारा गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। संगीत विभाग द्वारा जुगनी तथा नृत्य विभाग द्वारा नृत्य वंदना प्रस्तुत की गई।